मध्यप्रदेश के पन्ना जिले में पिछले डेढ़ साल से दो बैल वन विभाग की कैद में हैं. ये बैल अपने मालिकों द्वारा किए गए अपराध की अघोषित सजा काट रहे हैं. छोटे से कमरे में रहने के लिए मजबूर इन पशुओं की हालत दिन ब दिन खराब होती जा रही है. लंबे समय से चार दिवारी में कैद ये बैल आजाद होने के लिए छटपटा रहे हैं, लेकिन इनकी सुध कोई नहीं लेता. दरअसल, पन्ना जिले के उत्तर वनमंडल की देवेंद्र नगर रेंज ने आने वाले पहाड़ी खेरा सर्किल के तहत फूटी झिर नामक स्थान पर वन विभाग ने साल 2016-17 में बारिश से समय पौधारोपण करवाया था. इसके कुछ ही दिन बाद यहां के लोगों ने पहाड़ी पर अतिक्रमण कर वन भूमि पर फसल उगा दी. सूचना के बाद वन विभाग ने कब्जाधारियों को खदेड़ दिया और मौके पर मौजूद दो बैलों को अपनी अभिरक्षा में ले लिया. तभी से ये दोनों बैल पहाड़ी खेरा स्थित वन विभाग के परिक्षत्र सहायक के कार्यालय में कैद है. डिप्टी रेंजर डीपी यादव ने बताया कि बैलों को छुड़ाने के लिए उनके पालक ने कोई प्रयास नहीं किया. उन्होंने बताया कि काफी इंतजार के बाद जब कोई नहीं आया तो विभाग इन बैलों की नीलामी करने जा रहा है.
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